मुख्यमंत्री धामी सख्त: देवभूमि में भ्रष्टाचार को नहीं दी जाएगी जगह
देहरादून : सरस्वती शिशु मंदिर हाई स्कूल को राष्ट्रीय छात्रवृत्ति पोर्टल पर अल्पसंख्यक विद्यालय अथवा मदरसा दिखाकर केंद्रीय छात्रवृत्ति योजना का लाभ उठाने की शिकायत सामने आने के बाद राज्य सरकार ने मामले की गंभीरता से जांच के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मामले का संज्ञान लेते हुए विशेष सचिव, अल्पसंख्यक कल्याण विभाग डॉ. पराग मधुकर धकाते को जांच का जिम्मा सौंपा है।
बताया गया है कि उधम सिंह नगर जिले के 796 छात्रवृत्ति आवेदनों की प्रमाणिकता की जांच के दौरान 456 बच्चों के दस्तावेजों में संदेहास्पद जानकारियां मिली हैं। इन छात्रों का नाम छह शिक्षण संस्थानों से जुड़ा पाया गया है, जिनमें सरस्वती शिशु मंदिर हाई स्कूल किच्छा का नाम भी प्रमुखता से शामिल है। चौंकाने वाली बात यह है कि इस विद्यालय को अल्पसंख्यक शिक्षण संस्था के रूप में दर्शाया गया है, जबकि वास्तव में यह अल्पसंख्यक विद्यालय नहीं है। इतना ही नहीं, इसके संचालक के रूप में मोहम्मद शारिक-अतीक का नाम दर्ज है और यहां 154 मुस्लिम छात्रों के अध्ययनरत होने की जानकारी छात्रवृत्ति पोर्टल पर दी गई है।
इस खुलासे के बाद अन्य मदरसों पर भी नजर डाली गई, जिनमें काशीपुर की नेशनल अकादमी जेएमवाईआईएचएस, मदरसा अल जामिया उल मदरिया, मदरसा अल्बिया रफीक उल उलूम (घनसारा बाजपुर), मदरसा जामिया आलिया (गदरपुर), और मदरसा जामिया रजा उल उलूम (बाजपुर) शामिल हैं। इन संस्थानों से जुड़े कुल सैकड़ों छात्रों और संचालकों के दस्तावेजों की सत्यता की जांच के निर्देश भी जारी किए गए हैं।
जांच कार्य को गति देते हुए जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी नंदिनी सिंह को जिम्मेदारी सौंपी गई है। साथ ही, राज्य के अन्य सभी अल्पसंख्यक शिक्षण संस्थानों की भी जांच की जा रही है, जिसमें छात्रों और संस्थानों के बैंक खातों सहित सभी जरूरी दस्तावेजों का सत्यापन किया जाएगा।
विशेष सचिव डॉ. पराग मधुकर धकाते ने जानकारी दी कि इस प्रकार के फर्जीवाड़े को लेकर मुख्यमंत्री गंभीर हैं और पूरे राज्य में व्यापक स्तर पर जांच का कार्य शुरू कर दिया गया है। केंद्र सरकार से भी आवश्यक समन्वय स्थापित किया जा रहा है।मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने स्पष्ट किया है कि देवभूमि उत्तराखंड में भ्रष्टाचार को किसी भी स्तर पर सहन नहीं किया जाएगा और दोषियों के विरुद्ध कठोर कार्रवाई की जाएगी।
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