बाराबंकी एक्सीडेंट : 32 बार चालान हो चुका हादसे की शिकार हुई बस का

 


 

बाराबंकी में मंगलवार रात हुए बस हादसे की जांच में बड़ा खुलासा हुआ। है। हादसे का शिकार हुई डबल डेकर बस (यूपी 22 टी 7918) का बीते चार वर्षों के दौरान 32 बार चालान हो चुका है। वहीं अंतरराज्यीय बसों के संचालन पर प्रतिबंध होने के बावजूद यह बस पंजाब से वाया यूपी बिहार जा रही थी।कोरोना काल में इंटरस्टेट बसों का संचालन बंद है। सिर्फ दिल्ली और उत्तराखंड के बीच बस संचालन को अनुमति शासन की ओर से दी गई है। ऐसे में बाराबंकी के पास हुए बस हादसे में बस पंजाब से मजदूर लेकर बिहार जा रही थी। जबकि इन दोनों राज्यों के बीच बस सेवा प्रतिबंधित है। इसके बावजूद प्राइवेट बसों का संचालन जारी है। खास बात यह है कि यह बस उप्र की सीमा से गुजरकर बिहार जा रही है। ऐसे में यूपी परिवहन विभाग की लापरवाही का नजीता रहा है कि प्रतिबंध के बाद भी डग्गामार बसों का संचालन बदस्तूर जारी है। जबकि उप्र राज्य सड़क परिवहन निगम की बसों का संचालन बंद है।बता दें कि बाराबंकी से 40 किमी दूर लखनऊ-अयोध्या नेशनल हाईवे पर मंगलवार रात 12 बजे तेज रफ्तार अनियंत्रित ट्रक ने खराब खड़ी इस बस को जोरदार टक्कर मार दी थी। घटना में 18 बस यात्रियों की मौत हो गई, जबकि 16 घायल हैं। इनमें गंभीर रूप से घायल 11 लोग लखनऊ के ट्रामा सेंटर में भर्ती हैं। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत कई लोगों ने हादसे पर शोक जताया है।

 85 की क्षमता, मारपीट बैठा दिया 140 सवारियां


हादसे से बचे मजदूरों ने बताया कि किस प्रकार तीन बसों की सवारी एक में ही जबरन लाठी-डंडे के बल पर बैठाकर भेजा गया। स्लीपर डबल डेकर बस की क्षमता 85 सवारियों की थी मगर मारपीट कर उसमें 140 लोगों को बैठा दिया गया।

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