खबरदार! यहां पर सिर्फ दबंग यूपी पुलिस को ही है छठ पूजा का अधिकार



छठ लोक आस्‍था का पर्व है लेकिन इसमें भी पद और रुतबा संग वर्दी का रुआब घाटाें पर पूजा के लिए स्‍थान छेकने में काम आ रहा है। वरुणा नदी के तट पर शास्‍त्री घाट के पास यह नजारा जो भी देख रहा है वह आगे निकल जा रहा है।




 


वाराणसी / छठ पर्व वैसे तो लोक आस्‍था का पर्व है लेकिन इसमें भी पद और रुतबा संग वर्दी का रुआब घाटाें पर पूजा के लिए स्‍थान छेकने में काम आ रहा है। वरुणा नदी के तट पर शास्‍त्री घाट के पास यह नजारा जो भी देख रहा है वह वर्दी की धौंस समझ कर दूर से ही नई जगह की तलाश में निकल जा रहा है। वरुणा तट पर यूपी पुलिस के नाम पर जगह छेकने की एक तस्‍वीर सामने आई है जहां चार लोगों की पूजा के लिए पुलिस कर्मी के पद और रुतबे का धौंस जमीन पर नुमाया हो रहा है।   


वाराणसी में शास्‍त्री घाट पर छठ पूजन के लिए वेदी बनाने के साथ ही लोग अपने पद और रुतबे को भी सफेदी से पोत कर अपनी जगह पक्‍की कर लेते हैं। इस बार कोरोना वायरस संक्रमण के बीच लोग कम ही आ रहे हैं लेकिन जो आ रहे हैं वह अपने पद और रुतबे को भी जमीन पर अंकित कर अपने नाम से वह स्‍थान छेक ले रहे हैं। सामाजिक लोक आस्‍था के पर्व पर यहां रुतबा वर्दी का है। वहीं पूर्व के वर्षों में भी पद का रुतबा ि‍दिखाकर जगह छेकने का मामला सामने आता रहा है।


छठ पर्व पर यूपी पुलिस कर्मी होने का रुआब जमीन पर पेंट किया देखकर लोग यह स्‍थान छोड़कर आगे बढ़ जा रहे हैं। काशी में हालांकि सहयोग और आपसी सामंजस्‍य के साथ यह लोकपर्व मनाया जाता रहा है लेकिन वरुणा तट पर पक्‍के घाट पर साफ सुथरा स्‍थान कब्‍जा कर पूजन के लिए स्‍थान छेकने की परंपरा अब वर्दी का धौंस भी दिखाकर   स्‍थान कब्‍जाने के लिए अधिक चर्चा बटोर रहा है। ऐसा ही एक स्‍थान शास्‍त्री घाट पर नजर आया जहां पर प्रिंस तिवारी यूपी पुलिस का नाम लिखकर स्‍थान छेका गया था। वहीं अन्‍य स्‍थानों पर भी नजारा कुछ ऐसा ही है। 


 


Sources: जेएनएन


 



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