जम्मू-कश्मीर में मोदी के दौरे पर चेनाब पुल से जुड़े नए अध्याय का आगाज

 


जम्मू-कश्मीर के पहलगाम आतंकी हमले के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने पहले दौरे के तहत मंगलवार को चेनाब नदी पर बने दुनिया के सबसे ऊंचे रेलवे पुल का उद्घाटन किया। यह पुल उधमपुर-बनिहाल रेलवे परियोजना का महत्वपूर्ण हिस्सा है, जो पूरे क्षेत्र में कनेक्टिविटी को नई दिशा देगा। उद्घाटन समारोह में उपराज्यपाल मनोज सिन्हा, मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला और रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव भी उपस्थित रहे।

प्रधानमंत्री मोदी ने पुल का निरीक्षण करते हुए रेलवे परियोजना टीम के साथ बातचीत की और पुल की भव्यता का अनुभव किया। हाथ में तिरंगा लेकर पुल पर चलते हुए उनकी तस्वीरें सोशल मीडिया पर खूब साझा की गईं।

चेनाब रेल ब्रिज वास्तुकला और इंजीनियरिंग का अद्भुत नमूना है। यह 1,315 मीटर लंबा और नदी की सतह से 359 मीटर ऊँचा है, जो इसे विश्व का सबसे ऊंचा रेलवे आर्च ब्रिज बनाता है। इसकी ऊँचाई पेरिस के एफिल टावर से लगभग 35 मीटर अधिक है। यह पुल भूकंपीय क्षेत्र में बनाया गया है, इसलिए इसे विशेष रूप से 266 किमी/घंटा तक की तेज़ हवाओं और भूकंप के झटकों को सहने के लिए डिज़ाइन किया गया है।

विशेष बात यह है कि यह पुल विस्फोट-रोधी स्टील और कंक्रीट से निर्मित है, जिससे इसकी सुरक्षा और रणनीतिक महत्व और बढ़ जाता है। चेनाब पुल का डिजाइन डब्ल्यूएसपी फिनलैंड, जर्मन फर्म लियोनहार्ट एंड्रा अंड पार्टनर और वियना कंसल्टिंग इंजीनियर्स ने मिलकर किया है। निर्माण का कार्य कोंकण रेलवे कॉर्पोरेशन के इंजीनियरों ने बड़ी मेहनत और उच्च तकनीकी कौशल से पूरा किया।

इस पुल के निर्माण में 28,660 मीट्रिक टन स्टील, 10 लाख क्यूबिक मीटर मिट्टी का काम, 66,000 मीटर कंक्रीट, और 26 किलोमीटर मोटर योग्य सड़कें बनाई गईं। मेहराब का कुल वजन 10,619 मीट्रिक टन है।

उधमपुर-श्रीनगर-बारामुल्ला रेल लिंक परियोजना के तहत बना यह पुल जम्मू-कश्मीर के दूरदराज इलाकों को जोड़ने और विकास की दिशा में एक बड़ा कदम है। इससे न केवल क्षेत्रीय कनेक्टिविटी बेहतर होगी, बल्कि पर्यटन, व्यापार और सुरक्षा क्षेत्र में भी नए अवसर खुलेंगे।प्रधानमंत्री मोदी के इस दौरे को स्थानीय लोगों और देशभर में सकारात्मक प्रतिक्रिया मिली है, जो जम्मू-कश्मीर के विकास और एकता के लिए सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

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