ये चीनी तानाशाह था सबसे क्रूर,7 करोड़ लोगों को उतारा था मौत के घाट!



दुनिया ने काफी तरक्की कर ली है। समय के साथ लोगों की लाइफ काफी आसान हो गई है। पहले जहां लोगों को तानाशाह के अंदर रहकर गुलामों का जीवन जीना पड़ता था, वहीं अब लगभग हर देश में डेमोक्रेसी है। इसकी वजह से लोग अपने हक़ से, अपने तरीके से लाइफ जी पा रहे हैं। हालांकि, नॉर्थ कोरिया जैसे देश के लोगों को आज भी तानाशाह का दंश झेलना पड़ रहा है। तानाशाह अपने अंदर रहने वाले लोगों को नौकर की तरह ट्रीट करते हैं।

बात अगर तानाशाहों की कर रहे हैं तो लोगों के जेहन में हिटलर का नाम सबसे ऊपर आता है। इसके बाद लोग किम जोंग उन के बारे में बात करते हैं, जिसने अपने ही चाचा को कुत्तों से नोचवा कर मरवा दिया था। किम जोंग के बनाए नियम जो नहीं मानता उसे वो सीधे मौत का फरमान सुना देता है। लेकिन आज हंम आपको उस क्रूर तानाशाह के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसने अपने शासनकाल में सात करोड़ लोगों को मरवा दिया था। जी हां, इस क्रूर तानाशाह के लिए लोगों का जीवन एक मजाक था। जिसे मर्जी सीधे मौत की सजा देकर इस तानाशाह ने क्रूरता की सारी हदें पार कर दी थी।


चीन में मचाया था आतंक

हम बात कर रहे हैं पीपल्स रिपब्लिक ऑफ चाइना के फाउंडर और चेयरमैन माओ जेडोंग की। चीन में ही माओ का नाम काफी बदनाम है। उसका नाम दुनिया के सबसे क्रूर तानाशाहों में सबसे ऊपर लिया जाता है। माओ ने चीन में काफी बदलाव लाए। तरक्की के रास्ते में चीन को लाने के लिए माओ को क्रेडिट दिया जा सकता है। लेकिन अपने रास्ते में आए किसी भी अड़चन, अपने विरोधियों, अपने खिलाफ बोलने वालों को माओ सीधे मौत के घाट उतार देता था। एक समय में माओ ने चीन में किसानों से अनाज लेकर पैसों के लिए उसे दूसरे देशों में भेज दिया। उस साल ऐसी भुखमरी चीन में फैली कि कई लोगों की भूख से जान चली गई।


देश में करवा दी थी भुखमरी

7 करोड़ हत्या का अकेला जिम्मेदार

माओ और उसकी सरकार को करीब सात करोड़ लोगों की मौत का जिम्मेदार माना जाता है। इतिहासकारों की मानें तो ये आंकड़ा आठ करोड़ तक जा सकता है। अगर इस लिस्ट में भुखमरी से मारे गए लोगों को भी जोड़ दिया जाए तो। उसने अपने सारे विरोधी सुरों की हत्या कर उसे चुप करवा दिया। चीन के लोग उसके शासन से त्रस्त हो गए थे। सबकी एक ही कामना थी कि जल्द ये समय कट जाए और कोई और सत्ता में आ जाए। अपने कारनामों की वजह के सबसे क्रूर तानाशाहों की लिस्ट में माओ को सबसे पहले नंबर पर रखा जाता है।

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